अन्तरराष्ट्रीय (24/11/2023)
अनुसूचित जाति के सदस्यों को व्यापार तथा उद्योग के क्षेत्र में बढ़ावा देना जरूरी: आलोक कुमार
विश्व हिन्दू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष श् आलोक कुमार ने कहा है कि देश में सामाजिक समरसता सुनिश्चित करने के लिए यह जरूरी है कि अनुसूचित जाति के सदस्यों को शिक्षा के क्षेत्र के साथ ही उन्हें व्यापार तथा उद्योग के क्षेत्रों में भी बढ़ावा दिया जाए ताकि सामाजिक स्तर पर न्यूनतम समानता का लक्ष्य प्राप्त किया जा सके। आलोक कुमार आज नई दिल्ली स्थित एन डी.एमसी कन्वेंशन सेंटर में प्रबुद्ध भारती इंटरनेशनल संस्था द्वारा संविधान दिवस एवं 'हाथरस के सिकंदराराऊ की मातृभूमि का गौरव पूर्व सांसद श्रद्धेय क्रांतिवीर चन्द्रपाल शैलानी का जीवन दर्शन' पुस्तक के विमोचन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे । उन्होंने कहा कि भारत के संविधान में उल्लेखित बंधुत्व की भावना को बढ़ाने के लिए अनुसूचित जाति के सदस्यों को आत्मविश्वास से आगे बढ़ना होगा । उन्होंने कहा कि भारत के संविधान निर्माता डॉ.बी आर अम्बेडकर को सच्ची श्रद्धांजलि यही होगी कि हम सभी भगवान बुद्ध तथा डॉ अम्बेडकर के दिखाए मार्ग का अनुसरण करके सामाजिक समरसता के लिए एकजुट होकर कार्य करें । समारोह में नई दिल्ली नगरपालिका परिषद की सदस्य श्रीमती विशाखा शैलानी द्वारा लिखित पुस्तक 'हाथरस के सिकंदराराऊ की मातृभूमि का गौरव पूर्व सांसद क्रांतिवीर श्रद्धेय चन्द्रपाल शैलानी का जीवन-दर्शन' का भी विमोचन किया गया। समारोह को सम्बोधित करते हुए दिल्ली प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष श्री वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है और इसके साथ ही भारत का सबसे बडा लिखित संविधान भी है। उन्होंने कहा कि भारत का संविधान सिर्फ एक दस्तावेज ही नहीं बल्कि हर भारतीय की पहचान हमारा संविधान है। सचदेवा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हाल ही में कहा है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) की मदद से कुछ लोग 'डीपफेक' वीडियो बना कर भारत के संविधान की भावना का उल्लंघन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत के संविधान की रक्षा करना हम सभी भारतीयों का कर्तव्य है और हमे जागरूक रह कर इस तरह के प्रयासों को विफल करना होगा। समारोह में मुख्य अतिथि का स्वागत करते हुए प्रबुद्ध भारती इंटरनेशनल की अध्यक्ष एवं नई दिल्ली नगरपालिका परिषद की सदस्य श्रीमती विशाखा शैलानी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने डॉ.बी.आर. अम्बेडकर की 125वीं जयंती के अवसर पर वर्ष 2015 में 26 नवम्बर का दिन संविधान दिवस के रुप में मनाने की घोषणा की थी और इस प्रकार 26 नवम्बर का दिन संविधान दिवस के रुप में एक ऐतिहासिक दिन बना था। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण तथा पार्टी की बैठकों में महिलाओं को समुचित सम्मान देने के लिए भी आभार जताया। श्रीमती शैलानी ने अपने पिता स्वर्गीय श्री चन्द्रपाल शैलानी को याद करते हुए कहा कि बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के आदर्शों को जीवन का मूल मंत्र मान कर चलने वाले स्वर्गीय श्री चंद्रपाल शैलानी जी उत्तर प्रदेश के हाथरस से लोक सभा के दो बार सदस्य रहे । शैलानी जी ने हाथरस जिले के सिकंदराराऊ में बाबा साहेब के जन्मदिन को धूमधाम से मनाने की शुरुआत की थी । उन्होंने कहा कि श्री शैलानी ने अपने जीवन में भगवान बुद्ध के वचनों को न केवल आत्मसात किया बल्कि उनका आजीवन प्रचार प्रसार भी करते रहे। इस अवसर पर सांसद मनोज तिवारी ने कहा कि भारत का संविधान हमारे देश का सबसे महत्वपूर्ण ग्रंथ है। उन्होंने कहा कि भारत का संविधान सबसे महत्वपूर्ण था, सबसे महत्वपूर्ण है तथा भविष्य में भी सर्वाधिक महत्वपूर्ण बना रहेगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी देशवासियों का आह्वान किया है कि वे भारत के संविधान के प्रति जागरूक रहें और समय-समय पर संविधान की चर्चा होती रहनी चाहिए। इस मौके पर दिल्ली प्रदेश भाजपा मंत्री सुश्री बांसुरी स्वराज ने कहा कि भारत का संविधान देश के नागरिकों को उनके कर्तव्यों और अधिकारों की महत्वपूर्ण जानकारी देता है। उन्होंने शैलानी के जीवन के एक संस्मरण का उल्लेख करते हुए बताया कि श्री शैलानी ने सांसद बनने के बाद मिले पहले वेतन को अपने दीक्षा गुरु भदंत आनंद कौशल्यायन को उनके नागपुर के पते पर मनीआर्डर के माध्यम से उन्हें दान कर दिया था। इस अवसर पर नई दिल्ली नगरपालिका परिषद के अध्यक्ष अमित यादव ने समारोह में उपस्थित सभी लोगों को भारत के संविधान की शपथ दिलाई। इस मौके पर नई दिल्ली नगर पालिका के सदस्य गिरीश सचदेवा, तिब्बत संसद (निर्वासित) के उपाध्यक्ष आचार्य येशी फ्रेंचुक, महाकरुणा फाउंडेशन के अध्यक्ष भंते दीपांकर सुमेधो और वोक इंडिया फाउंडेशन के अध्यक्ष ले० कर्नल रणदीप हुंडल सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति मौजूद थे। |
Copyright @ 2019.