भोपाल । हमीदिया अस्पताल में ऑपरेशन के इंतजार में दिल
के मरीजों की धड़कन बढ़ रही है। किसी मरीज के दिल में सुराग है, तो किसी का वॉल्व
बदला जाना है, लेकिन
ऑपरेशन के लिए उन्हें अभी कम से कम चार महीने इंतजार करना पड़ेगा। नए मरीजों को
जुलाई-अगस्त में सर्जरी की डेट मिल रही है। अभी 60 मरीज वेटिंग में हैं। प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में कार्डियक (हार्ट) सर्जरी की
सुविधा सिर्फ हमीदिया अस्पताल में है। भोपाल संभाग के अलावा रीवा, सतना, सीधी, सागर आदि जिलों के
मरीज इलाज के लिए हमीदिया आ रहे हैं। इनमें से ज्यादातर मरीज राज्य बीमारी सहायता
निधि (एसआईएएफ) व मुख्यमंत्री बाल हृदय उपचार योजना के तहत इलाज कराने वाले हैं। योजना के तहत जिलों में सीएमएचओ कार्यालय से राशि स्वीकृत
होने के बाद मरीजों को सर्जरी के लिए हमीदिया रेफर कर दिया जाता है। हालांकि, एसआईएएफ के तहत
चि-ति निजी अस्पतालों में भी मरीज इलाज करा सकते हैं, लेकिन इसके लिए
हमीदिया अस्पताल की एनओसी जरूरी है। एनओसी में अस्पताल प्रबंधन को मरीज को रेफर करने की वजह बताना
होती है, इसलिए मरीज
को निजी अस्पताल में भेजने की जगह उसे आगे की तारीख दे दी जाती है। हमीदिया के
अधीक्षक डॉ. डीके पाल ने कहा कि गंभीर मरीजों की सर्जरी पहले की जाती है। |